जिले में मातृ-शिशु मृत्यु दर कम करने के लिए चलेगा अभियान
🔲 कलेक्टर ने स्वास्थ्य तथा महिला बाल विकास विभाग की ली बैठक
हरमुद्दा
रतलाम, 28 फरवरी। रतलाम जिले में मातृ एवं शिशु मृत्यु दर कम करने के लिए अभियान चलाया जाएगा। अभियान की रूपरेखा तैयार करने के लिए कलेक्टर रुचिका चौहान ने शुक्रवार को एक बैठक आयोजित की।
बैठक में महिला बाल विकास विभाग तथा स्वास्थ्य विभाग का मैदानी अमला भी मौजूद था।
गरीब तबके पर होगा फोकस
कलेक्टर ने बैठक में निर्देश दिए कि अभियान में मुख्य रूप से ग्रामीण क्षेत्र तथा शहरी क्षेत्र के गरीब, कमजोर तबके पर फोकस किया जाएगा। सभी गर्भवती महिलाओं का शत-प्रतिशत पंजीयन सुनिश्चित किया जाए, गर्भवती महिलाओं की प्रथम की जांचें सुनिश्चित की जाएं। हमें प्रथम स्टेप से अंतिम स्टेप तक की योजना तैयार करना है। स्वास्थ्य विभाग के अनमोल एप में लक्षित दंपत्ति पंजीकृत होते हैं, इस सूची को अपडेट करना है। यह जिम्मेदारी स्वास्थ्य विभाग की एएनएम तथा महिला बाल विकास विभाग की आंगनवाड़ी कार्यकर्ता की होगी। गांव में आंगनवाड़ी कार्यकर्ता तथा एएनएम की जानकारी में एकरूपता होनी चाहिए। गर्भवती महिलाओं को आयरन फोलिक, एसिड टेबलेट तथा अन्य उपचार स्वास्थ्य विभाग की गाइड लाइन के अनुसार समय सीमा में दिया जाए।
अभियान के क्रियान्वयन के लिए बनाएंगे मॉनिटरिंग फॉर्मेट
कलेक्टर ने बैठक में कहा कि गर्भवती माताओं के मामले में लक्ष्य दंपतियों की प्रत्येक माह आंगनवाड़ी पर बैठक आयोजित की जाए, उनको सही चेकअप एवं उपचार की सलाह दी जाए। यदि शत-प्रतिशत लक्ष्य दंपति बैठक में नहीं आते हैं तो फॉलो किया जाए। दंपत्ति पहचान में रखे जाएं लक्ष्य दंपतियों की समग्र आईडी होना चाहिए। स्वास्थ्य विभाग की सुपरवाइजर लक्ष्य दंपतियों की समग्र आईडी एकत्र करें, समग्र आईडी के साथ ही उनका बैंक खाता, आईएफएससी नंबर तथा आधार नंबर भी प्राप्त कर ले ताकि गर्भवती महिलाओं को प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना की किस्त भी प्राप्त करने में दिक्कत नहीं आएगी। कलेक्टर ने अभियान के क्रियान्वयन के लिए मॉनिटरिंग फॉर्मेट बनाने के निर्देश दिए। फॉर्मेट के अनुसार विभिन्न अधिकारी एवं कर्मचारियों के दायित्व सुनिश्चित किए जाएंगे।
यह थे मौजूद
बैठक में अपर कलेक्टर जमुना भिड़े, जिले के सभी एसडीएम, तहसीलदार और जिला कार्यक्रम अधिकारी महिला बाल विकास सुनीता यादव भी उपस्थित थी।