धोलावाड़ पर्यटन : उत्साह, उमंग और रोमांच का हुआ संगम
🔲 अलग अलग तरीके से ली सेल्फियां और खिंचवाए फोटो
🔲 बच्चों और युवा वर्ग में नजर आया जोश जुनून
🔲 रुचिका ने तीरंदाजी कर मनाया जन्मदिन
🔲 जनप्रतिनिधियों की उदासीनता मुख्य मुद्दा रहा
हरमुद्दा
रतलाम, 25 दिसंबर। धोलावाड़ पर्यटन महोत्सव की शुरुआत शहरवासियों ने जोश, जुनून और उत्साह के साथ की। उत्साह उमंग और रोमांस के संगम में हर वर्ग ने खुशियां और आनंद की अनुभूति का एहसास किया। प्रकृति का आनंद लेने वालों ने सेल्फियां ली। वही फोटो खिंचवाए। अधिकांश प्रकृति प्रेमियों का कहना था कि? जनप्रतिनिधि की उदासीनता के कारण पर्यटन स्थल विकसित नहीं हो पा रहे हैं। वरना लोगों को बाहर जाने की जरूरत नहीं।
शुक्रवार 25 दिसंबर से शुरू हुए धोलावाड़ पर्यटन महोत्सव के तहत शुक्रवार को दोपहर बाद से शहरवासियों की चहल कदमी शुरू हो गई।
प्रकृति के सानिध्य में कुछ समय बिताने के लिए बेताब परिजन बच्चों सहित धोलावाड़ डेम पहुंचे। बोट राइड, वाटर स्कूटर, बनाना राइड, मंकी क्रॉल, वैली क्रॉसिंग, टायर क्रॉल, तीरंदाजी की।
जन्मदिन पर की रुचिका ने तीरंदाजी
अनिल सुनीता लाठी की बिटिया रुचिका लाठी जोकि टीसीएल इंदौर में कार्यरत है। उसने 25 दिसंबर को अपना जन्मदिन तीरंदाजी सहित अन्य गतिविधियों में शामिल होकर मनाया। सुनील राठी ने बताया कि रुचिका शुरू से ही खेल गतिविधियों में काफी सक्रिय रही हैं।
प्रकृति के साथ यादगार लम्हे को सहेजा
कुछ पल प्रकृति के साथ यादगार लम्हे सहेज कर अपने मोबाइल मैं कैद किया। भांति भांति की मुद्राओं में फोटो खींचे और सेल्फियां ली। युवक युवक इस कार्य में ज्यादा व्यस्त नजर आए। वहीं जागरूक वर्ग धोलावाड़ क्षेत्र को देखते हुए फिक्र मंद नजर आए।
पर्यटन स्थल को विकसित करना चाहिए सरकार को
सीटीआई यशवंत पावेचा ने हरमुद्दा से चर्चा में बताया कि रतलाम जिले में पर्यटन के काफी अच्छे-अच्छे क्षेत्र हैं, लेकिन सरकार की नजर उस और नहीं है। जिले के पर्यटन एवं ऐतिहासिक स्थलों को विकसित किया जाना बहुत जरूरी है इस कार्य में जनप्रतिनिधियों की उदासीनता काफी दिक्कत देती है।
जनप्रतिनिधि की इच्छा रही अब तक कमजोर
ग्रहणी बबीता पावेचा का कहना है कि क्षेत्र का विकास होना चाहिए। सुधार की काफी जरूरत है। रतलाम जिले को पर्यटन की दृष्टि से इतना बेहतर बना दिया जाए कि लोग बाहर से यहां आकर प्रकृति का आनंद लें। लेकिन इस कार्य में अधिकारी वर्ग की बजाय जनप्रतिनिधियों की जागरूकता बेहद जरूरी है। उनकी इच्छा शक्ति कमजोर होने के कारण हैं, विकास नहीं हो पा रहा है।
गतिविधियों के शुल्क बहुत ज्यादा
पर्यटन स्थल पर मौजूद गतिविधियों का शुल्क बहुत ज्यादा है। एक राइटिंग में ही हजार 500 की उतर जाती है। जबकि सभी राइडिंग में बच्चों को रुचि होती है। ऐसे में शुल्क में कमी होना जरूरी है। पर्यटन स्थल धोलावाड़ को 12 महीने के लिए विकसित करने की योजना पर कार्य करना बहुत जरूरी है। पीपी मोड पर को दे दिया जाता है तो काफी बेहतर विकास हो सकेगा।
🔲 शैलेंद्र डागा, पूर्व महापौर रतलाम
धोलावाड़ को किया जाएगा विकसित
जिले के पर्यटन स्थलों को विकसित करने की योजना पर विचार-विमर्श कर योजनाएं बनाई जा रही है। विशेषकर धोलावाड़ क्षेत्र को काफी अच्छा बनाया जाएगा।
🔲 संगीता चारेल, पूर्व विधायक, सैलाना