हस्तशिल्प मेले में : राजसी पारम्परिक मेहंदी और कजरा चंदेरी साड़ियां

🔳 चंदेरी का किला, चंदेरी की साड़ियों के बॉर्डर पर उतर आया

हरमुद्दा
रतलाम, 30 दिसंबर। मध्यप्रदेश का प्रख्यात चंदेरी का किला, चंदेरी की साड़ियों के बॉर्डर पर उतर आया है। साड़ी पर मेहंदी के हाथ और आंखों के कजरे को कुछ यूं सजाया है कि बरबस ही नजरें ठहर जाती है।

रोटरी हाल अजंता टॉकिज रोड रतलाम में मध्यप्रदेश हस्तशिल्प एवं हथकरघा विकास निगम की प्रदर्शनी में चंदेरी की अद्भुत कलात्मक साड़ियां महिलाओं को आकर्षित कर रही है।

अभिनेत्री अनुष्का के लिए विशेष रूप से तैयार की गई असली सोने की जरी की

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चंदेरी की साड़ियों के परंपरागत कारीगर इमरान अंसारी इस बात को लेकर फक्र महसूस करते हैं कि फिल्म सुई धागा में फिल्म अभिनेत्री अनुष्का के लिए विशेष रूप से तैयार की गई असली सोने की जरी की 10 लाख कीमत वाली साड़ी उनके यहां तैयार हुई थी। इतना ही नहीं माधवराव सिंधिया ने भी इन्ही कलाकारों के हाथों से बनी साड़ी अपनी बेटी को भेंट की थी। चंदेरी का प्रसिद्ध बादल महल इस साड़ी की शोभा बढ़ाने का प्रमुख आधार है। अंसारी के अनुसार रेशम और टिशू के 7500 धागों से बुनी जाती है। मलबरी सिल्क और बारिक मीनाकारी वाली चंदेरी सिल्क की साड़ियां नए कलेक्शन के साथ मेले में आई है। उन्होंने बताया की महिलाओं की मांग के अनुसार तथा फिल्मों और बड़ी शादियों में चंदेरी पर मांग के अनुरूप मीनाकारी कराने का इन दिनों प्रचलन चला है। माचिस की एक तीली पर सिल्क को लपेटकर उसे डिजाइन देना परंपरागत कलाकारी है।

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बढ़ गया चश्मा साड़ी का चलन भी

श्री अंसारी ने बताया कि इन दिनों चश्मा साड़ी का चलन भी बढ़ गया है। अर्थात यह साड़ी दोनों तरफ से पहनी जा सकती है। जिसकी बॉर्डर पर मेहराब उभरती है तो दूसरी तरफ नई डिजाइन नजर आती है।

आधुनिक तथा परंपरागत संसाधनों का समन्वय : सोनी

मेला प्रभारी दिलीप सोनी ने बताया कि चंदेरी के कारीगर सैकड़ों वर्षों से इस काम को कर रहे हैं और आधुनिक तथा परंपरागत संसाधनों का उपयोग कर कलाकारी महिलाओं तक पहुंचा रहे हैं। चंदेरी की साड़ी के लिए तथा प्रदेश के अन्य जिलों के कारीगरों से रूबरू होने के लिए आमजन दोपहर 12:00 बजे से रात 9:00 बजे तक आ सकते हैं। श्री सोनी ने बताया कि रतलाम हस्तशिल्प मेले में प्रथम बार 500 से ज्यादा च॔देरी साड़ियां प्रदर्शित की गई हैं। जिसमें कतान सिलक, मलबरी सिल्क, मसराईज सिल्क, मसलिन सिल्क की बेहतरीन कारीगरी की नायब साड़ियां 2 हजार रूपए से लेकर 10 हजार रूपए तक की मेले में उपल्बध है।

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