भड़काऊ पोस्ट डालने वाले नफ़रती पर मुक़दमा दर्ज, वह करता है साम्प्रदायिक उन्माद, नफ़रत फ़ैलाने की कोशिश
🔲 पहले भी कई प्रकरण है दर्ज
हरमुद्दा के लिए नईम कुरैशी
शाजापुर, 13 अप्रैल। कोरोना वायरस की महामारी को लेकर पूरे देश मे भले ही दहशत का माहौल हो पुलिस, स्वास्थ्य, सफाई कर्मचारी अपनी जान की परवाह न करते हुए लोगों को “कोरोना” से बचाने के लिए मैदान में डटे हुए हैं। इस संकटकाल में भी कुछ खुराफ़ाती तत्व सोशल मीडिया पर भड़काऊ पोस्ट डालने से बाज़ नही आ रहे हैं।
ऐसा ही एक खुराफ़ाती साम्प्रदायिक तत्व शाजापुर थाना कोतवाली अंतर्गत शरद नगर निवासी नफ़रती हरीश पटेल पिता सेवाराम पटेल जो कि स्वयं-भू जीव जंतु रेस्क्यू एक्सपर्ट लिखता है। मुस्लिम समाज और “इस्लाम” धर्म को लेकर असहनीय भद्दी, भड़काऊ पोस्ट पिछले कई महीनों से लगातार लिख रहा था। और क्षेत्र में दहशत, दबंगई, नफ़रत फैलाने की कोशिश करता रहा है।
झूठे आंकड़े देने पर पहले भी पकड़ा जा चुका है नफरती
कथित जीव-जंतु विशेषज्ञ हरीश पटेल जो कि मप्र शासन के जैव विविधता पुरस्कार के लिए झूठे आंकड़े प्रस्तुत करने के फर्जीवाड़े में भी पकड़ा जा चुका है। इसने समुदायों के बीच शत्रुता, घृणा और वैमनस्य की भावनाएं पैदा करने के आशय से फ़ेसबुक पर पोस्ट डाली। हरीश पटेल लंबे समय से शहर में हिन्दू-मुस्लिम समाज के बीच वैमनस्य की भावनाएं पैदा करने के आशय से सोशल मीडिया पर सक्रिय रूप से न केवल लिख रहा था, बल्कि फ़ोटोशॉप के माध्यम से आपत्तिजनक चित्र बनाकर लगातार अपलोड कर रहा था।
शिकायत पर प्रकरण दर्ज
सामाजिक कार्यकर्ता इरशाद हुसैन पिता स्व. इनायत हुसैन क़ुरैशी ने बीती रात उक्त उग्र साम्प्रदायिक तत्व के विरुद्ध पोस्ट के स्क्रीन शॉट लेकर थाना कोतवाली में मुकदमा दर्ज करने के लिए तहरीर दी। जिस पर पुलिस ने अपराध क्रमांक 143/20 के अंतर्गत भादवि की धारा 505, 505(2) 188 में प्रकरण दर्ज कर लिया है। आरोपी पटेल का यह कृत्य गैरजमानती और संज्ञेय अपराध है।
साम्प्रदायिक उन्माद, नफ़रत फ़ैलाने की कोशिश
उल्लेखनीय है ज़िले में कलेक्टर ने सोशल मीडिया या अन्य माध्यमों से भड़काऊ पोस्ट, प्रचार पर प्रतिबंध लागू किया हुआ है। बावजूद इसके हरीश पटेल शहर में साम्प्रदायिक उन्माद, नफ़रत फ़ैलाने की कोशिश कर रहा था।
नफ़रती आरोपी का जुलूस निकालने की मांग
शहर के अमनचैन पसंद लोगों ने इस फेसबुकिये नफ़रती आरोपी का जुलूस निकालने की मांग प्रशासन से करी है। उल्लेखनीय है कि उक्त आरोपी पर पूर्व में भी कई मुक़दमे दर्ज है। अयोध्या फ़ैसले के समय वर्ष 2010 में भी शाजापुर शहर मे अफ़वाह फ़ैलाने पर तत्कालीन कलेक्टर-एसपी ने इस शरारती आपराधिक तत्व को थाने मे बैठाया था।