विश्व में डंका बज रहा है सरस्वती शिशु मंदिर के पूर्व छात्रों का

🔲 सरस्वती शिशु मंदिर पूर्व छात्र सम्मेलन का आयोजन

हरमुद्दा
रतलाम, 1 फरवरी। सरस्वती शिशु मंदिर से अपनी अलग पहचान बनाता है पूर्व-छात्र आप जहां भी हो, जिस क्षेत्र में रहे शिशु मंदिर को अवश्य जिंदा रखें। सुगंधित पुष्प के समान पूर्व-छात्र पूरे वातावरण को सुगंधित करते हैं। पूर्व छात्र व्यक्तिगत स्तर पर देश व समाज की चिंता करते हुए अपने कर्तव्य का निर्वाह करते हैं। शिशु मंदिर का देश में ही नहीं बल्कि विश्व में पूर्व छात्रों का डंका बज रहा है।

यह बात बात क्षेत्रीय संयोजक पूर्व छात्र परिषद राजदीप परवाल ने कही। श्री परवाल स्थानीय सरस्वती शिशु मंदिर काटजू नगर में आयोजित पूर्व छात्र सम्मेलन में मुख्य अतिथि के रूप में मौजूद थे।

मंचासीन अतिथि

देश को पुनः विश्व गुरु बनाने में बिना भेदभाव के करें सहयोग : वाफगांवकर

जिला प्रतिनिधि वीरेंद्र वाफगांवकर ने कहा कि हिंदुत्व राष्ट्रभक्ति से ओतप्रोत ऐसी युवा पीढ़ी का निर्माण करना है। जो विश्व में आगे तो बढ़े, साथ ही देश को पुनः विश्व गुरु बनाने में बिना भेदभाव के सहयोग करें। देश हित में कार्य करें।

विद्यालय के संस्कार आज भी विद्यार्थी में जीवित : काकानी

इस अवसर पर पूर्व छात्र परिषद मालवा प्रांत के प्रभारी व प्रांतीय कोषाध्यक्ष गोपाल काकानी ने पूर्व छात्रों को आगामी कार्यक्रम के लिए मार्गदर्शन दिया और कहा कि विद्यालय के संस्कार आज भी विद्यार्थी के अंदर जीवित है। पूर्व छात्रो को रक्तदान, संस्कृति बोध परियोजना से जुड़ने ओर सामाजिक क्षेत्र में कार्य करने के लिए प्रेरित किया।

किया अतिथियों का स्वागत

अतिथियों का स्वागत पूर्व छात्र के उपाध्यक्ष रुचि चितले, सचिव दीपेश वाफगांवकर, पूर्व छात्र के परामर्शदाता आदित्य डागा, पवन मजावदिया, निखिल काकानी व अर्पित शर्मा ने किया। कार्यक्रम का शुभारंभ अतिथियों ने माँ सरस्वती के चित्र पर माल्यार्पण कर किया। अतिथि परिचय पूर्व छात्र परिषद के अध्यक्ष धीरज व्यास ने दिया।

यह थे मौजूद

कार्यक्रम में शिशु शिक्षा समिति के अध्यक्ष गुमानमल नाहर , सचिव शैलेंद्र सुरेका, कोषाध्यक्ष सुनील लाठी, जवाहर चौधरी, सुहास चितले, प्राचार्य गोपाल शर्मा थे। कार्यक्रम की रूपरेखा राजेंद्र बिष्ट ने दी। इस अवसर पर सभी पूर्व-छात्र ने मनोरंजन खेल खेलें। 12 वीं के भैया बहनों को कैरियर काउंसलिंग के बारे में मार्गदर्शन दिया। संचालन शीला सोन ने किया। आभार विद्यालय के पूर्व छात्र प्रमुख अरविंद मिश्रा ने माना।

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