वसंत गीत : ख़बर हमारी कभी तो लेने ज़रा इधर भी वसंत आना
⚫ आशीष दशोत्तर
ख़बर हमारी कभी तो लेने
ज़रा इधर भी वसंत आना।
विचार मन में घुमड़ रहे हैं
ये बादलों से उमड़ रहे हैं ।
मगर ये जा कर किसे सुनाएं
हम अपनी पीड़ा किसे बताएं ।
दु:खों के स्वर को ज़रूर सुनने
कभी ऋतु के महंत आना।
सभी हैं अपने, सभी पराए
किसी की पीड़ा कही न जाए ।
हमारे कांधे पे हाथ रखना
हमेशा अपना ही साथ रखना।
हमारी ख़ातिर दिलों में अपने
खुशी तू लेकर अनंत आना।
अभी समय कुछ डरा हुआ है
गले- गले तक भरा हुआ है ।
शिशिर को छूकर जरा समझना
यहां पे तुम भी जरा संभलना।
कभी मुसीबत में ग़र बुलाएं
तो हमसे मिलने तुरंत आना।