पहले नहीं दिया जिम्मेदारों ने ध्यान : प्रभारी मंत्री के आने के बाद ली जिला प्रशासन ने अतिवृष्टि पीड़ितों की सुध, राहत राशि वितरण हुआ शुरू, 6 करोड़ 50 लाख हुए मंजूर
हरमुद्दा
रतलाम, 20 सितंबर। जिले में हुई अतिवृष्टि से प्रभावित ग्रामीण जनों की सुध जिम्मेदार जिला प्रशासन ने समय रहते नहीं ली। नतीजतन प्रभारी मंत्री सचिन यादव जिले के दौरे पर आए और गांव-गांव, गली-गली घूम कर वस्तुस्थिति का जायजा लिया। जिला प्रशासन को राहत राशि वितरण सिद्ध करने के निर्देश दिए। परिणाम स्वरूप 6:50 करोड़ की राहत राशि पीड़ित परिवारों को वितरित हो रही है। फिर भी अब तक केवल एक करोड़ रुपए की राशि ही वितरित हुई है।
प्रदेश के कृषि एवं जिला प्रभारी मंत्री सचिन यादव के दौरे से जिला प्रशासन के कार्य में कसावट आ गई है। उल्लेखनीय है कि अतिवृष्टि से प्रभावित जिले में पीड़ित रहवासियों के मकानों की क्षति, पशु हानि हुई है।
जावरा : –
जावरा क्षेत्र में 1180 मकानों की क्षति पर 5 करोड रुपए की राहत राशि स्वीकृत की गई है।
आलोट :-
आलोट अनु विभाग में 1214 प्रकरण बनाए गए हैं। इनमें मकानों की क्षति, पशु हानि सम्मिलित है। एक करोड़ 16 लाख 81 हजार रुपए स्वीकृत किए गए हैं। इनमें से 75 लाख की राशि बैंक खातों में पहुंच चुकी है।
सैलाना :-
सैलाना तहसील में 298 प्रकरण तैयार कर 9. 89 लाख रुपया राहत राशि स्वीकृत की गई है।
बाजना :-
बाजना तहसील में 147 प्रकरण तैयार किए गए हैं इनमें 2 लाख 14 हजार रूपए स्वीकृत किए गए हैं। रावटी क्षेत्र में 3 लाख 33 हजार राशि स्वीकृत की गई है।
रतलाम ग्रामीण : –
रतलाम ग्रामीण क्षेत्र में भी 23 लाख 20 हजार राहत राशि वितरित की गई है। यह राशि 217 प्रकरणों में प्रभावित व्यक्तियों को प्रदान की गई है।
रतलाम शहर :-
रतलाम शहर में अतिवृष्टि के कारण क्षतिग्रस्त हुए 298 मकानों के लिए 11 लाख 89 हजार रुपए राशि स्वीकृत की गई है।
फिर भी एक करोड़ ही वितरित
“मुद्दे” की बात यह है कि प्रभारी मंत्री के दौरे के बाद भी प्रभावित परिवारों को करीब 1 करोड रुपए ही वितरित किए गए। शेष परिवारों के बैंक खातो में भी एक-दो दिन में राशि भेजने के निर्देश दिए गए हैं।
पीड़ितों को गेहूं व केरोसिन करवाए उपलब्ध
जिले में अतिवृष्टि पीड़ित परिवारों को 50-50 किलोग्राम गेहूं तथा पांच-पांच लीटर केरोसिन भी उपलब्ध कराया जा रहा है। जिले में राहत राशि स्वीकृति का सिलसिला निरंतर जारी है। छूटे हुए परिवारों को सूचीबद्ध करते हुए उनके प्रकरण तैयार किए जा रहे हैं। राहत राशि बैंक खातों में डाली जा रही है।।
◼ रुचिका चौहान, कलेक्टर