आजादी के इतने वर्षों के बाद भी राजभाषा के प्रचार-प्रसार के लिए बैठकें करना दुःखद : डीआरएम गुप्ता
🔳 79वीं नगर राजभाषा कार्यान्वयन समिति की हुई बैठक
हरमुद्दा
रतलाम, 4 दिसंबर। आजादी के इतने वर्षों के बाद भी राजभाषा के प्रचार-प्रसार के लिए बैठकें करनी पड़ रही है, जो दुःख की बात है। आज के समय में राजभाषा के प्रचार-प्रसार के लिए जितने पुरस्कार दिए जा रहे हैं, उतने किसी अन्य क्षेत्र में नहीं है, फिर भी राजभाषा का विकास उस स्तर पर नहीं पहुंच सका है।
यह विचार मंडल रेल प्रबंधक विनीत गुप्ता ने व्यक्त किए। डीआरएम एवं राजभाषा कार्यान्वयन समिति के अध्यक्ष श्री गुप्ता समिति के सदस्यों को मंडल कार्यालय रतलाम के समिति कक्ष संबोधित कर रहे थे।
मंडल प्रवक्ता जेके जयंत ने बताया कि राजभाषा के विकास एवं गतिविधियों पर चर्चा करने के उद्देश्य से प्रति 6 महीने में राजभाषा कार्यान्वयन समिति की बैठक का आयोजन किया जाता है। इसी तारतम्य में बुधवार को नगर राजभाषा कार्यान्वयन समिति की 79वीं बैठक का अयोजन किया गया। सबसे पहले बैठक में उपस्थित सभी सदस्यों ने अपना परिचय दिया एवं उसके उपरांत नगर एवं मंडल रेल प्रबंधक श्री गुप्ता द्वारा सदस्यों का स्वागत किया।
राजभाषा विकास के लिए किए जा रहे प्रयासों से कराया अवगत
बैठक में नगर राजभाषा कार्यान्वयन समिति के उपस्थित सभी सदस्यों द्वारा उनके कार्यालय में राजभाषा में किए जा रहे कार्यों एवं राजभाषा के विकास के संबंध में किये जा रहे विभिन्न प्रयासों के बारे में अध्यक्ष, नगर राजभाषा कार्यान्वयन समिति एवं मंडल रेल प्रबंधक श्री गुप्ता को अवगत कराया।
किए गए कार्यों का दिया विवरण
अपर मंडल रेल प्रबंधक केके सिन्हा द्वारा रतलाम मंडल द्वारा पिछले छः माह में हिंदी के प्रचार-प्रसार हेतु किए गए कार्यों का विवरण दिया गया। मंडल कार्यालय रतलाम में 14 से 21 सितंबर तक राजभाषा सप्ताह के दौरान अधिकारियों एवं कर्मचारियों के लिए विभिन्न प्रतियोगिताओं का आयोजन किया गया। उक्त प्रतियोंगिता के विजेताओं के अतिरिक्त हिंदी में सराहनीय कार्य करने वाले 81 कर्मचारियों को 14 अक्टूबर को आयोजित कार्यक्रम में पुरस्कृत किया गया।
व्यक्तिगत रूची लेकर अपनी जिम्मेदारियों का करें निर्वहन
बैठक में मंडल रेल प्रबंधक श्री गुप्ता ने विभिन्न विभागों द्वारा किए गए कार्यों की समीक्षा के दौरान जिन विभागों द्वारा राजभाषा में कम पत्राचार किए गए थे, उन्हें इसमें सुधार करने के साथ ही साथ सभी सदस्यों से कहा कि अपने-अपने कार्यालयों में राजभाषा संबंधी न केवल संवैधानिक दायित्वों को पूरा करें बल्कि राजभाषा के प्रचार-प्रसार के लिए व्यक्तिगत रूची लेकर अपनी जिम्मेदारियों का निर्वहन करें।
हुए प्रतिनिधि शामिल
बैठक में केन्द्रीय विद्यालय, लेखा परीक्षा विभाग (रेलवे), डाक विभाग, इंडियन आयल कार्पोरेशन, एल.आई.सी., बीएसएनएल, पंजाब नेशनल बैंक, भारतीय खाद्य निगम, एन.एस.ओ., ओरियेंटल बिमा कंपनी, यूनाइटेड इंडिया इंश्यारेंस कंपनी लिमिटेड, सिंडीकेट बैंक, बैंक ऑफ बड़ोदा, न्यू इंडिया इंश्यारेंस, स्टेट बैंक ऑफ इंडिया, कर्मचारी राज्य बिमा निगम, यूनियन बैंक ऑफ इंडिया, बैंक ऑफ इंडिया, यूको बैंक, उपायुक्त जीएसटी, देना बैंक, विजया बैंक, केनरा बैंक, बैंक ऑफ महाराष्ट्रा, आयकर आयुक्त कार्यालय प्रमुख या उनके प्रतिनिधि सदस्य शामिल हुए। नगर राजभाषा कार्यान्वयन समिति की बैठक का संचालन सदस्य सचिव एवं राजभाषा अधिकारी रामानंद सिंह द्वारा किया गया।