हजारों परिवारों ने बनाए मेहनत से खास, अपनी पसंद के आवास

चयनित जरूरतमंदों को दिए 1.20 लाख

⬛ दी 90 दिन की मजदूरी भी

हरमुद्दा
रतलाम, 6 फरवरी। जिले के हजारों परिवारों ने अपनी मेहनत से पसंद के खास आवास बना लिए। प्रधानमंत्री ग्रामीण आवास योजना के तहत प्रत्येक हितग्राही को एक लाख 20 हजार रुपए आवास निर्माण के लिए दिए गए। इसके साथ ही 90 दिन की मजदूरी भी दी गई।  पिछले 4 साल में चयनित 41 हजार 104 परिवारोंं में 32 हजार 302 परिवारों ने अपने आवास बनाए। 

जानकारी के अनुसार जिले में प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत 2016-17 में 8881 हितग्राहियों को चयनित कर राशि मंजूर की गई थी, जिसमें से 8558 परिवारों ने अपने आवास बना लिए। इस तरह 96.36 फीसद लक्ष्य की पूर्ति हो गई। 323 परिवारों ने रुपए ले लिए लेकिन आवास नहीं बनाएं। योजना के तहत 2017-18 में 10048 परिवारों में से 9773 परिवारों ने अपनी पसंद की आवास बनाएं। इस तरह 97.26 फीसद आवास बने। 275 परिवारों ने पहली किश्त तो ले ली मगर आवास निर्माण शुरू नहीं किया। इसी तरह 12437 परिवारों के लिए जो राशि मंजूर हुई जिसमें से 12208 परिवारों ने आवास बनाएं। इस तरह 98.16 फीसद लक्ष्य की पूर्ति हो गई। इस साल भी 229 परिवारों ने मकान बनाने में रुचि नहीं ली। वर्ष 2019-20 में चयनित 9738 परिवारों में से अब तक 1763 परिवारों ने ही आवास बनाएं।

कब-कब कितने रुपए मिलते

प्रधानमंत्री ग्रामीण आवास योजना के तहत चयनित परिवारों को चार किश्तों में 120000 की राशि दी जाती है। स्वीकृति पर पहली किश्त 25000 की, आवास निर्माण में नींव स्तर पर दूसरी किश्त 40000 की, छत स्तर तीसरी किश्त 40000 की तथा पूर्णता के बाद 15000 की चौथी किश्त दी जाती है। इसके साथ ही 90 मानव दिवस मनरेगा की मजदूरी के रूप में तकरीबन ₹16000 की राशि दी जा रही है। अधिकांश परिवारों ने आवास निर्माण के दौरान मजदूरी का कार्य भी किया ताकि मजदूरी बचे और ज्यादा सुविधाजनक आवास बन सके।  सैकड़ों परिवार तो ऐसे भी हैं जिनमें हितग्राही स्वयं सिलावटी कार्य भी जानता है।

आवास में यह जरूरी

प्रधानमंत्री ग्रामीण आवास योजना के तहत हितग्राही परिवार को न्यूनतम 270 वर्ग फीट निर्माण करना जरूरी है जिसमें एक कमरा, एक किचन और लेट बाथ शामिल है।

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समारोह पूर्वक करवा रहे गृह प्रवेश

प्रधानमंत्री ग्रामीण आवास योजना के तहत जिन हितग्राहियों के आवास पूर्ण हो गए हैं, उन परिवारों को समारोह पूर्वक गृह प्रवेश करवाया जा रहा है।

इसलिए पिछड़े आवास निर्माण में

पिछले 3 सालों में लक्ष्य के आसपास रहे हैं लेकिन
वर्ष 2019-20 में चयनित 9738 परिवारों में से अब तक 1763 परिवारों ने ही आवास बनाएं। इसमें पिछड़ने का मुख्य कारण यह है कि कुल 9738 परिवारों में से 7170 परिवार तो सैलाना और बाजना विकासखंड के ही हैं। इन विकासखंड के हितग्राहियों ने क्रमशः 15.23 और 10.52 फीसद आवास ही बनाए हैं। लक्ष्य पूर्ति के लिए प्रयास किए जा रहे है।

महेश चौबे, नोडल अधिकारी, प्रधानमंत्री ग्रामीण आवास योजना, जिला पंचायत रतलाम

 कार्रवाई कर करेंगे राशि वसूल

जिन परिवारों ने पिछले वर्षों में आवास निर्माण में रुचि नहीं दिखाई है, उनके विरुद्ध कार्रवाई कर राशि वसूल की जाएगी।

संदीप केरकेट्टा, मुख्य कार्यपालन अधिकारी, जिला पंचायत रतलाम

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