न्यायालयों में 15 दिन भौतिक उपस्थिति बंद कर आगे बढ़ाएं साक्ष्य प्रकरण
जिला अभिभाषक संघ ने की मांग
विधिक सहायता भवन में सोमवार को टीकाकरण एवं जांच शिविर
हरमुद्दा
रतलाम, 14 जनवरी। कोरोना संक्रमण की बढ़ती रफ्तार को देखते हुए जिला अभिभाषक संघ ने जिले के सभी न्यायालयों में पक्षकारों की भौतिक उपस्थिति 15 दिन तक बंद करने एवं साक्ष्य के प्रकरण आगे बढाने की मांग की है। जिला एवं सत्र न्यायाधीश को सौंपे गए पत्र में आपराधिक प्रकरणों में भी आरोपियों को उपस्थिति से छूट देने और सिर्फ अत्यावश्यक प्रकरणों की वर्चुअल सुनवाई के आदेश देने का आग्रह किया गया है।
जिला अभिभाषक संघ के अध्यक्ष अभय शर्मा एवं सचिव विकास पुरोहित ने बताया कि जिले में कोरोना पॉजीटिव मरीजों की संख्या लगातार बढ़ रही है। जिला न्यायालय में पंचम अपर सत्र न्यायालय के कर्मचारी पूर्व में पॉजीटिव आ चुके हैं और शुक्रवार को न्यायिक दंडाधिकारी प्रथम श्रेणी तथा तृतीय अपर सत्र न्यायालय के कर्मचारी भी पॉजीटिव आए हैं। इन कर्मचारियों द्वारा न्यायालय में नियमित कार्य किया जा रहा था। इससे अभिभाषकों एवं अन्य कर्मचारियों में भी कोरोना संक्रमण फैलने की आशंका है। ऐसी स्थिति में अभिभाषक संघ के सदस्यों में कोरोना के फैलाव को लेकर भय व्याप्त हो गया है। संघ के अनुसार अतिरिक्त अधीनस्थ न्यायाधीश द्वारा भौतिक साक्ष्य के लिए अभिभाषकों पर दबाव भी डाला जा रहा है। इसलिए वर्तमान परीस्थिति में न्यायाधीष गणों को 15 दिन पक्षकार की भौतिक उपस्थिति बंद कर प्रकरण आगे बढ़ाने का आग्रह किया है।
सोमवार को न्यायालय में टीकाकरण व जांच शिविर
जिला प्रशासन, स्वास्थ्य विभाग तथा अभिभाषक संघ रतलाम के सहयोग से विधिक सहायता भवन, जिला विधिक सेवा प्राधिकरण में प्रातः 10ः30 बजे से टीकाकरण शिविर होगा। जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, रतलाम के सचिव अरुण श्रीवास्तव ने बताया कि नालसा (आपदा पीड़ितों को विधिक सेवा प्राधिकरणों के माध्यम से विधिक सेवाएं) योजना, 2010 के अंतर्गत कोविड-19 संक्रमण से सुरक्षा एवं बचाव के जांच सह टीकाकरण शिविर का आयोजन किया जा रहा है। जिसमें न्यायाधीशगण एवं अभिभाषकगण तथा उनके परिजनों को नियमानुसार वैक्सीन का प्रथम डोज, द्वितीय डोज तथा बूस्टर डोज लगाने सहित आवश्यकतानुसार आर.टी.पी.सी.आर. जांच निःशुल्क कराई जाएगी।