कलेक्टर की नाराजगी : कमीशनखोरी को लेकर नाराज कलेक्टर ने उपयंत्रियों से सीधा सवाल किया क्या रेट चल रहा है इन दिनों ?
वैक्सीनेशन में कमी, पटवारी तथा ग्राम पंचायत के सचिवों के खराब परफारमेंस
विधायक की मौजूदगी में कलेक्टर ने ली विभाग के जिम्मेदारों की क्लास
उपयंत्रियों को कलस्टर मुख्यांलय पर रहने के निर्देश
शरद भट्ट
पिपलौदा, 9 फरवरी। कमीशनखोरी को लेकर नाराज कलेक्टर कुमार पुरुषोत्तम ने उपयंत्रियों से सीधा सवाल किया क्या रेट चल रहा है इन दिनों ? तो वे बगले झांकने लगे। विभागों के काम काज की जमीनी हकीकत जानने के लिए कलेक्टर कुमार पुरूषोत्तम एवं विधायक डॉ. राजेन्द्र पांडेय बुधवार को तहसील एवं जिला स्तर के अधिकारियों के साथ रूबरू हुए।
विभाग प्रमुखों की ली क्लास
पिपलोदा जनपद क्षेत्र के विभिन्न विभागों के कार्यों की प्रगति जानने के लिए विधायक डॉ.राजेन्द्र पांडेय की उपस्थिति में कलेक्टर कुमार पुरूषोत्तम ने जिला एवं तहसील के विभाग प्रमुखों की क्लास ली। कलेक्टर ने वैक्सीनेशन में कमी, निर्माण कार्यों की गुणवत्ता, पटवारी तथा ग्राम पंचायत के सचिवों के खराब परफारमेंस व शालाओं में शिक्षकों की पर्याप्त उपस्थिति व शिक्षण को लेकर नाराजगी व्यक्त की।
सवाल किए शिक्षण की गुणवत्ता के संबंध में
विभागवार की गई समीक्षा में स्वास्थ्य, शिक्षा, महिला एवं बाल विकास, कृषि व लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी विभाग की विभिन्न योजनाओं की समीक्षा में मातृ व शिशु दर व वैक्सीनेशन की कमी को लेकर विभागीय अधिकारियों से चर्चा की तथा शालाओं में शिक्षकों की समय पर उपस्थिति के साथ ही शिक्षण की गुणवत्ता के संबंध में सवाल किए।
निर्माण कार्यों के स्तर पर नाराज
बैठक के दूसरे चरण में राजस्व, पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग की समीक्षा के दौरान गत 3 वर्षों के दौरान मनरेगा तथा विभिन्न योजनाओं के तहत जनपद क्षेत्र में हुए निर्माण कार्यों के स्तर पर नाराजगी व्यक्त करते हुए उपयंत्रियों को कलस्टर मुख्यांलय पर रहने के निर्देश दिए। निर्माण कार्यों में कमीशनखोरी को लेकर नाराज कलेक्टर ने उपयंत्रियों से सीधा सवाल किया क्या रेट चल रहा है इन दिनों ?
पिपलौदा के कारण वैक्सीनेशन में जिले का स्तर खराब
विभागवार समीक्षा कर छोटे-से-छोटे ग्रामीण स्तर पर चल रहे कार्यों व शासन की कल्याण योजनाओं की स्थिति को परखा। कलेक्टर ने स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों से कहा कि जिलेभर में मात्र पिपलौदा के कारण 15 से 17 वर्ष के बच्चों तथा बुस्टर डोज़ के वैक्सीनेशन में जिले का स्तर खराब हो रहा है। इसके लिए त्वरित प्रयासों की आवश्यकता है।
निरीक्षण कर सीईओ को करे रिपोर्ट
शालाओं में शिक्षकों द्वारा समय पर गुणवत्तापूर्ण शिक्षण नहीं किया जा रहा है, इसके लिए विभागीय अधिकारी लगातार निरीक्षण कर काम नहीं करने वाले कर्मचारियों की सीधी रिपोर्टिंग जिला पंचायत सीईओ व कलेक्टर को करें। शाला त्यागी व अप्रवेशी बच्चों की जानकारी विभागीय अधिकारियों को नहीं होने पर विधायक डॉ.पांडे ने भी असंतोष व्यंक्त किया। विगत 3 वर्षों में मनरेगा सहित विभिन्नो योजनाओं में निर्माण कार्यों की गुणवत्ता को लेकर जनपद पंचायत की सीईओ अलफिया खान से जानकारी चाही तथा निर्देशित किया कि मार्च अंत तक सभी निर्माण कार्य पूर्ण करवा कर इंजीनियर तथा पंचायतवार प्रजेन्टेंशन प्रस्तुत करने पर ही इंजीनियरों की संविदा को आगे बढ़ाया जाएगा। कार्य में कमी तथा गुणवत्ताविहीन होने पर सेवाएं निरंतर नहीं की जाएगी।
परफारमेंस के आधार पर रेटिंग
कलेक्टर ने कहा कि पटवारी तथा पंचायत सचिव ऐसी युनिट है, जो ग्राम स्तर पर आम आदमी से सीधे जुड़े हुए हैं। पटवारी तथा सचिवों पर विश्वास है कि बिना किसी भेदभाव के सभी के कामों को करते हैं। कोई करोड़पति जो नहीं कर सकता वह एक शासकीय सेवक करता है, वह गांव में शासन की सुविधा प्रदान करने के साथ ही विकास को गति प्रदान करता है। आप सभी शासकीय सेवक है और समय पर जनसामान्य के कार्य कर दें, उन्हेंं संतोषप्रद उत्तर दें दे तो निश्चित ही विभाग व ग्राम की उन्नाति में उनका योगदान होने के साथ सामान्य नागरिक का शासन-प्रशासन में विश्वास बढ़ता है। अगले माह की समीक्षा बैठक में पंचायतवार सचिव व पटवारी को 5 मिनट में अपनी जिम्मेदारी तथा उसके लिए किए गए प्रयासों व कमी की जानकारी देना होगी। इसी परफारमेंस के आधार पर रेटिंग की जाएगी।
समन्वय से करें कार्य : विधायक पांडेय
विधायक डॉ. पांडेय ने कहा कि शासन के सभी अंगों को मिलजुल कर समन्वय से कार्य करना चाहिए, तभी कल्यााणकारी योजनाओं का क्रियान्वयन समय पर हो सकता है। उन्होंने कहा कि वे अनियमित कार्यों के पक्षधर नहीं है तथा अधिकारी कर्मचारियों से अपेक्षा है कि योजना क्रियान्वयन समय पर हो, जिससे शासन-प्रशासन की छवि बेहतर होगी। वे शाला त्यागी बच्चों की जानकारी नहीं होने तथा विद्यालयों की मॉनिटरिंग उचित प्रकार से नहीं होने पर नाराज दिखे। उन्होंने विद्यालय तथा आंगनवाड़ी में पेयजल व्यवस्था, आदिवासी क्षेत्रों में राशन दुकान समय पर नहीं खुलने, ग्राम पंचायतों में अधिकांश निर्माण कार्य अधूरे होने, राजस्व मामलों के निराकरण में देरी पर भी असंतोष व्यक्त किया।
यह थे मौजूद
बैठक में जिला पंचायत की मुख्य कार्यपालन अधिकारी जमुना भिड़े, अनुविभागीय अधिकारी हिमांशु प्रजापति, डीपीसी मोहनलाल सांसरी, सीएमएचओ डॉ.प्रभाकर ननावरे, तहसीलदार अश्विनी गोहिया, नायब तहसीलदार चंदन तिवारी, जनपद की मुख्य कार्यपालन अधिकारी अलफिया खान, मुख्य नपा अधिकारी दुर्गा बामनिया सहित विभिन्न विभागों के जिला एवं विकासखंड स्तर के अधिकारी उपस्थित रहे।