भादवामाता व सुखानन्‍द पंजीकृत तीर्थों में शामिल, महिमा है अपरंपार माताजी की

हरमुद्दा
नीमच, 12 जून। म.प्र.तीर्थ स्‍थान एवं मेला प्राधिकरण म.प्र. भोपाल द्वारा प्रदेश के प्रमुख 112 तीर्थों
का पंजीयन किया गया है। प्राधिकरण द्वारा पंजीबद्ध प्रमुख तीर्थों के आधार पर “हमारा तीर्थ हमारी आस्‍था”हमारी आस्‍था नामक पुस्‍तक का प्रकाशन किया जाना प्रस्‍तावित है। पंजीकृत तीर्थों में नीमच जिले के भादवामाता एवं सुखानन्‍द तीर्थ को शामिल किया गया है।

प्राचीन है माताजी की प्रतिमाScreenshot_2019-06-12-16-57-47-892_com.google.android.googlequicksearchbox
भादवा माता मां की चमत्कारी प्राचीन प्रतिमा चांदी के सिंहासन पर विराजित हैं। प्रतिमा के नीचे मां नवदुर्गा के नौ रूप विराजित हैं। यहां कई सालों से अखंडित रूप से ज्योत जल रही है।
रोते-रोते आते हंसते-हंसते जाते
भादवा माता के मंदिर में भक्तों पर मातारानी कृपा बरसती है। यहां पर देशभर से भक्तजन रोते-रोते आते हैं और हंसते-हंसते जाते है। लकवाग्रस्त व नेत्रहीन रोगी आते हैं, जो माँ के मंदिर के सामने ही ‍रात्रि विश्राम करते हैं। बारह महीने यहाँ भक्तों की भीड़ रहती है। मंदिर परिसर में कई लकवा रोगी आते है जो चंगा होने की उम्मीद रहते और चल के जाते है। सफर तय करके भादवा धाम आते है।

पानी की महिमा
यहां प्राचीन बावड़ी के जल से जो भी स्नान करेगा, वह व्यक्ति रोगमुक्त हो जाएगा। मंदिर परिसर में स्थित बावड़ी का जल अमृत के समान है। पहले तो लकवाग्रस्त को बावड़ी में नहलाते थे, मगर मातारानी का अपमान होने पर बावड़ी में प्रवेश बन्द कर दिया गया।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *