असहनीय होगा सूरज का गुस्सा : रतलाम, मंदसौर, नीमच सहित प्रदेश के दर्जनों जिले चार दिन तक रहेंगे लू की चपेट में
⚫ मौसम विभाग ने किया ऑरेंज और येलो अलर्ट
⚫ चिकित्सकों का कहना अत्यंत जरूरी हो तो ही निकले घर से
⚫ निकलने के पहले केरी का पना, झोलिया, पानी पीएं
⚫ हाथ, पैर, चेहरा ढक कर निकले, लू से बचें
हरमुद्दा
मंगलवार, 21 मई। मध्य प्रदेश के रहवासियों के लिए सूरज दादा मुसीबत के दिन लेकर आ रहे है। आगामी चार दिन के लिए मौसम विभाग ने रतलाम मंदसौर नीमच सहित प्रदेश के दर्जनों जिलों में लू का ऑरेंज और येलो अलर्ट जारी किया है। चिकित्सकों ने आमजन को सलाह दी है कि जरूरी कार्य हो तो ही घर से निकले अन्यथा नहीं और घर से निकलने के पहले केरी का पना, झोलिया, पानी पर्याप्त मात्रा में पीएं और चेहरा हाथ पैर ढक कर निकले ताकि लू से बचा जा सके।
मौसम विभाग का कहना है कि प्रदेश के ज्यादातर जिलों 21, 22, 23 और 24 मई को लू चलेगी।प्रदेश के 22 जिलों में हीटवेव का अलर्ट है। मौसम विभाग का कहना है कि प्रदेश के ग्वालियर, दतिया, भिंड, निवाड़ी, को ऑरेंज अलर्ट पर रखा गया है वहीं मुरैना, श्योपुर, शिवपुरी, अशोकनगर, गुना, राजगढ़, नीमच, मंदसौर, रतलाम, धार, झाबुआ, अलीराजपुर, बड़वानी, टीकमगढ़, छतरपुर, पन्ना, दमोह, कटनी में येलो अलर्ट जारी किया है। यहां हीट वेव चलेगी। भीषण गर्मी से आमजन हलाकान हैं। लगातार पारा चढ़ने से लोगों का जीना मुहाल है। कई जिलों में तापमान 44 डिग्री सेल्सियस से अधिक रहेगा।
लू से बचाव के लिए बरते विशेष सावधानी
डॉ. मुकेश राठौर ने वर्तमान में बढ़ती हुई गर्मी को देखते हुए आमजन को लू से बचाव के लिए विशेष सावधानी बरतने की सलाह दी है। लू से बचाव के लिए आमजन को तेज गर्मी से बचने के लिए छायादार स्थान पर ही निवास करना चाहिए। तेज धूप में निकलना आवश्यक हो, तो ताजा भोजन करके उचित मात्रा में ठंडे जल का सेवन करके ही बाहर निकलना चाहिए। दिनभर थोड़े अंतराल से ठंडे पानी एवं शीतल पर पदार्थों छाछ, केरी का पना, ताजे फलों के रस का सेवन अवश्य करते रहना चाहिए। तेज धूप में बाहर निकलने पर छाते का उपयोग करना चाहिए अथवा कपड़े से सिर एवं बदन को ढककर बाहर जाना चाहिए।
लू लगने के हैं यह लक्षण
मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी ने बताया कि व्यक्ति के शरीर में लवण व पानी अपर्याप्त होने पर गर्म वातावरण में सिर का भारीपन, सिरदर्द, अधिक प्यास लगना, थकावट, जी मचलना, शरीर का तापमान बढऩा, मुंह का लाल हो जाना और त्वचा का सूख जाना आदि लू तापघात के प्रमुख लक्षण है।
तो किया जाए ऐसा
चिकित्सक कैलाश अग्रवाल ने बताया कि लू तापघात से ग्रसित होने पर तत्काल रोगी को छायादार ठंडा स्थान पर लेटा देना चाहिए। रोगी की त्वचा को गीले कपड़े से स्पंज करते रहना चाहिए। रोगी के कपड़ों को ढीले कर देने चाहिए। रोगी को पेय पदार्थ का सेवन करना चाहिए और गर्मी से अत्यधिक प्रभावित होने पर रोगी को तत्काल चिकित्सा संस्थान पर उपचार के लिए ले जाना चाहिए।
जिले भर में है व्यवस्था
आमजन से सजग रहकर लू तापघात से बचाव के उपाय करने को कहा है। जिले के सभी चिकित्सा संस्थानों पर कार्यरत प्रभारी चिकित्सा अधिकारियों को लू तापघात से ग्रसित रोगियों के इलाज की समुचित व्यवस्था आवश्यक रूप से सुनिश्चित करने के लिए निर्देशित किया गया है।