“गुल-आब” तूफान का असर : लगभग आधे मध्यप्रदेश में भारी बारिश की चेतावनी

🔲 इंदौर, उज्जैन, रतलाम, धार में हो सकता है झमाझम बारिश का दौर

हरमुद्दा
भोपाल, 26 सितंबर। “गुल-आब” तूफान का असर मध्यप्रदेश में भी नजर आने वाला है प्रदेश के आधे जिलों में भारी बारिश की चेतावनी मौसम विभाग ने जारी की है। उज्जैन इंदौर रतलाम बुरहानपुर सहित 20 जिलों में येलो अलर्ट जारी किया है। इस दरमियान ढाई से 5 इंच बारिश होने की संभावना व्यक्त की जा रही है।

उल्लेखनीय है कि बंगाल की खाड़ी में बना गहरा अवदाब का क्षेत्र चक्रवाती तूफान ‘गुल-आब” में तब्दील हो गया है। इसके रविवार काे रात में आंध्रप्रदेश में मछली पटनम और गोपालपुर के बीच टकराने की संभावना है। मौसम विज्ञानियों के मुताबिक तूफान के असर से रविवार से मध्यप्रदेश के दक्षिणी क्षेत्र स्थित भोपाल, जबलपुर, इंदौर, होशंगाबाद, उज्जैन संभागों के जिलों में झमाझम बारिश का दौर शुरू होने की संभावना है। इनमें से कुछ क्षेत्रों में भारी वर्षा भी हाे सकती है।

वेदर सिस्टम हो जाएगा तूफान में मर्ज

मौसम विज्ञान केंद्र के पूर्व वरिष्ठ मौसम विज्ञानी अजय शुक्ला ने बताया कि चक्रवाती तूफान गुल-आब के आंध्रप्रदेश और ओडिसा के बीच तट से टकारने के बाद पश्चिम दिशा में आगे बढ़ने की संभावना है। रविवार को तूफान के तट से टकराने के बाद मौजूदा सभी वेदर सिस्टम भी तूफान में ही मर्ज हो जाएंगे।

तूफान से होगी इन जिलों में झमाझम बारिश

तूफान के असर से प्रदेश में बारिश का दौर शुरू होने की संभावना है। इंदौर, उज्जैन, रतलाम, धार, बुरहानपुर, अलीराजपुर, मंडला, बेतूल, खंडवा, खरगोन, देवास, आगर, बड़वानी, शाजापुर, होशंगाबाद, हरदा, बालाघाट, सिवनी, छिंदवाड़ा जिलों में झमाझम बारिश का दौर शुरू होने की संभावना है। इस दरमियान 65 मिलीमीटर से 115 मिलीमीटर बारिश होने की संभावना व्यक्त की है। विशेषकर भोपाल, इंदौर, जबलपुर, होशंगाबाद, उज्जैन संभागों के जिलों में तेज बौछारें पड़ेंगी। रीवा, सागर, शहडाेल, ग्वालियर, चंबल संभागाें के जिले में हल्की बौछारें पड़ने के आसार हैं।

अक्टूबर की शुरुआत में भी होगी बारिश

29 सितंबर को बंगाल की खाड़ी में एक और कम दबाव का क्षेत्र बनने जा रहा है। इस तरह अक्टूबर माह की शुरुआत में भी बारिश हाेने की उम्मीद है। वर्तमान में उत्तर मप्र पर हवा के ऊपरी भाग में चक्रवात मौजूद है। मानसून ट्रफ भाेपाल से होकर गुजर रहा है। अरब सागर में बना कम दबाव का क्षेत्र अब हवा के ऊपरी भाग में चक्रवात बन गया है। जिसके चलते मिल रही नमी के कारण प्रदेश के अधिकांश जिलों में बौछारें पड़ रही हैं।

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