मासूमों के हित में नहीं कलेक्टर का निर्णय : समय परिवर्तन नहीं, स्कूलों की होनी चाहिए छुट्टी शीतलहर के प्रकोप में, हम तो नहीं भेजेंगे अपने बच्चों को स्कूल
⚫ प्राथमिक विद्यालय और आंगनवाड़ी केंद्रों के समय परिवर्तन से आमजन नाखुश
⚫ आंगनवाड़ी सहित प्राइमरी तक स्कूल की होनी चाहिए छुट्टी
⚫ अभिभावकों का कहना कलेक्टर को करना चाहिए पुनः विचार
⚫ माध्यमिक स्कूल, हाई स्कूल और हाई सेकेंडरी स्कूलों में होना चाहिए समय परिवर्तन
हरमुद्दा
रतलाम, 3 जनवरी। देश, प्रदेश, शहर शीतलहर की चपेट में है तापमान लगातार घट रहा है। ऐसे में रतलाम aकलेक्टर ने निर्णय दिया कि प्राथमिक स्कूलों और आंगनबाड़ियों का समय परिवर्तित किया जाता है, लेकिन इससे आमजन नाखुश हैं। लोगों का कहना है कि प्राइमरी स्कूल तक के बच्चों की छुट्टी होनी चाहिए। हम तो अपने बच्चों को आंगनवाड़ी और स्कूल नहीं भेजेंगे। जब बड़े-बड़े शीत लहर के प्रकोप में थरथर कांप रहे हैं तो छोटे बच्चों की सेहत क्यों हम खतरे में डालें। कलेक्टर को छोटे बच्चों की सेहत के मद्देनजर पुनः विचार करना चाहिए। समय का परिवर्तन तो माध्यमिक स्कूल, हाई स्कूल तथा हर सेकेंडरी स्कूल में होना चाहिए ताकि उन विद्यार्थियों को राहत मिल सके। ठंड इतनी अधिक है कि काम काजीओ को भी काम करने में भी परेशानी हो रही है।
मंगलवार शाम को कलेक्टर नरेंद्र कुमार सूर्यवंशी ने आदेश जारी किया कि सीबीएसई सहित सभी निजी और सरकारी स्कूल कक्षा पांचवी तक के 10:30 बजे के पहले शुरू नहीं होंगे। वही आंगनवाड़ी भी 10:30 बजे के पहले शुरू नहीं होगी। आंगनवाड़ी कार्यकर्ता और सहायिका को 1:00 से 5:00 बजे तक अपना कर्तव्य निर्वहन करना होगा।
लगातार गिर रहा है तापमान
उल्लेखनीय है कि अधिकतम तापमान भी लगातार गिर रहा है शनिवार को जहां 24.2 डिग्री सेल्सियस था, वहीं रविवार को 23.6 पर आ गया। मंगलवार को 22.6 डिग्री सेल्सियस अधिकतम तापमान दर्ज किया गया। इसी तरह न्यूनतम तापमान भी लगातार गिर रहा है। शनिवार को जहां न्यूनतम तापमान 12.6 सेल्सियस अधिकतम था, वही रविवार को 10 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया। सोमवार को 9 डिग्री तो मंगलवार को 8 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया। ऐसे दौर में मौसम विभाग का कहना है कि शीतलहर का प्रकोप और बढ़ेगा। ठंडी हवा चलने से हर कोई कांप रहा है। कई जगह दोपहर में भी अलाव जलते देखे गए। शाम के बाद से शहर में अधिकांश दुकानों के बाहर लोग तापते हुए नजर आए।
धूप में भी लग रही है ठंड
मंगलवार को शीत लहर का ऐसा प्रकोप था कि धूप में खड़े होने के बावजूद भी हवा में शीतलता काफी अधिक थी। दो पहिया वाहन और चार पहिया वाहनों पर तो ठंडी हवा सिहरन पैदा कर रही थी। सामान्य दिनों की तुलना में हवा जहां तेज थी वही ठंडा के लिए हो गए थे। इसके चलते लोग घर में दुबक के रहे। बच्चे और बुजुर्ग ए ही नहीं युवा भी साल स्वेटर टोपा पहने हुए दिन भर रहे ऐसे में पढ़ाई के लिए हाथ निकालना काफी मुश्किल भरा काम है।
पुनः विचार करना चाहिए कलेक्टर को
शहर और गांव के लोगों ने हरमुद्दा को बताया कि कलेक्टर का आदेश मौसम के अनुकूल नहीं है। संध्या उपाध्याय, अर्चना जोशी, पद्मश्री, अन्विति अरोड़ा, वृत्तिका त्रिपाठी सहित अन्य महिलाओं ने कहा कि छोटे-छोटे बच्चों के लिए तो स्कूल बंद करना चाहिए था, जब तक मौसम सामान्य नहीं हो जाता और बड़े बच्चों के लिए स्कूल का समय में परिवर्तन होना चाहिए था, लेकिन ऐसा नहीं किया गया। यह व्यवहारिक निर्णय नहीं है। कलेक्टर को इस मामले में पुनः विचार करना चाहिए। अभिभावकों का कहना है कि जब घरों में भी ठंड लग रही है तो फिर स्कूल तो खुले होते हैं, वहां पर ठंडी हवा के चलते बच्चों की सेहत पर विपरीत असर पड़ेगा। वैसे भी इन दिनों सर्दी, खांसी का प्रकोप काफी चल रहा है। बच्चे ही नहीं बड़े भी खास खास कर परेशान है।