साहित्य सरोकार : दस रचनाकार अपनी प्रिय रचनाओं का करेंगे पाठ
⚫ ‘सुनें सुनाएं’ का 21 वां सोपान 2 जून को
⚫ सुधिजनों से उपस्थित रहने का आग्रह
हरमुद्दा
रतलाम, 30 मई। शहर में रचनात्मक वातावरण बनाने के लिए निरंतर प्रयासरत ‘सुनें सुनाएं ‘ आयोजन का 21 वां सोपान 2 जून , रविवार को प्रातः 11 बजे जी.डी. अंकलेसरिया रोटरी हॉल, प्रथम तल, रतलाम पर होगा।
अपनी तरह के अनोखे इस आयोजन में इस बार दस रचनाकार अपनी प्रिय रचनाओं का पाठ करेंगे।
आयोजन में आई.एल.पुरोहित द्वारा डॉ. विष्णु सक्सेना के गीत ‘ थाल पूजा का ले कर चले आइए’ का पाठ, विजय सिंह रघुवंशी द्वारा प्रो. अज़हर हाशमी की रचना ‘ मुझको राम वाला हिन्दुस्तान चाहिए ‘ का पाठ, हरेन्द्र कोठारी द्वारा असर अहमदाबादी की ग़ज़ल ‘मेरी मस्ती पे ज़माने के हैं पहरे कितने’ का पाठ,श्रीमती इन्दु सिन्हा द्वारा रघुवीर सहाय की रचना “रामदास” का पाठ, दिनेश जोशी बाजना द्वारा उपग्रह के स्तम्भ में प्रकाशित रचना ‘सोच बड़ी रखिए ‘ का पाठ, डॉ. पूर्णिमा शर्मा द्वारा दुष्यंत कुमार की रचना ‘ कहां तो तय था चराग़ां हरेक घर के लिए ‘ का पाठ,पीरुलाल डोडियार द्वारा पंडित मुस्तफ़ा आरिफ़ की कविता ‘राम मेरी विरासत’ का पाठ, श्रीमती रश्मि पंडित द्वारा श्री अग्निशेखर की रचना ‘छत पर चांद’ का पाठ , दिनेश बारोठ,सरवन द्वारा बहादुर शाह ज़फ़र की ग़ज़ल ‘लगता नहीं है दिल मेरा उजड़े दयार में ‘ का पाठ तथा कीर्ति शर्मा द्वारा शील जी का गीत ‘ बढ़ रही है आग धुंआधार ,देश के जवान इसे रोक दो ‘ का पाठ किया जाएगा।
सुधिजनों से उपस्थित रहने का आग्रह
उल्लेखनीय है कि इस आयोजन में कोई अपनी रचना का पाठ नहीं करता है बल्कि अपने प्रिय रचनाकार की रचना का पाठ करता है। ‘सुनें सुनाएं’ ने शहर के सुधिजनों से उपस्थित रहने का आग्रह किया है।